B.Ed. Degree Holders || देश भर के शिक्षकों के लिए बड़ी खबर, नौकरी को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला, साथ ही रखी गई ये शर्त

B.Ed. Degree Holders || देश भर के शिक्षकों के लिए बड़ी खबर, नौकरी को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने सुनाया फैसला, साथ ही रखी गई ये शर्त
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B.Ed. Degree Holders || सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया 11 अगस्त 2023 के उसके फैसले से पहले तमाम B.Ed डिग्री धारक प्राथमिक शिक्षक के तौर पर अपनी सेवा में बने रहेंगे. बशर्ते कि उनकी नियुक्ति किसी भी अदालत में विचाराधीन न हो.

B.Ed. Degree Holders || प्राथमिक स्कूलों में B.Ed degree के आधार पर काम कर रहे शिक्षकों के लिए अच्छी खबर है। Supreme Court ने कहा कि B.Ed degree धारकों को प्राथमिक स्कूलों में नौकरी नहीं मिलेगी। Supreme Court ने यह भी कहा कि पिछले वर्ष अगस्त में दिए गए अपने निर्णय में स्पष्ट किया गया था कि इन शिक्षकों की नियुक्ति के समय विज्ञापन में B.Ed का उल्लेख था। यही कारण है कि प्राथमिक स्कूलों में नियुक्त शिक्षकों की नौकरी बनी रहेगी। Supreme Court ने देश भर में यह आदेश जारी किया है, जो सभी राज्यों में लागू होगा।

क्या पूरा मामला 

Supreme Court में B.Ed degree धारियों को Primary teacher के रूप में दी जा रही सेवाओं को लेकर याचिका लगाई गई। 11 अगस्त 2023 को Supreme Court ने इस संबंध में भी फैसला सुनाया, जिसमें कोर्ट ने B.Ed degree धारकों को Primary teacher पद के लिए अयोग्य ठहराया। इसके बाद Primary teacherों की चिंता बढ़ी। इस मामले में Supreme Court में याचिका दायर की गई, जिस पर सुनवाई करते हुए Supreme Court ने 11 अगस्त 2023 को एक स्पष्ट निर्णय लिया जो किसी भी व्यक्ति को Primary teacher पद पर नियुक्त करेगा जो B.Ed degree रखता है। इस फैसले का उन पर कोई असर नहीं होगा। यह निर्णय उन लोगों पर लागू नहीं होगा, जिनकी नियुक्ति इस निर्णय से पहले हुई थी। उनकी नौकरियां सुरक्षित रहेंगी। Supreme Court ने यह भी स्पष्ट किया कि अभ्यर्थी जो नियमित नियुक्ति में हैं और जिनके विज्ञापन में योग्यता में B.Ed दर्शाया गया है, इस निर्णय से प्रभावित नहीं होंगे और वे नौकरी कर सकेंगे।

यह आदेश पूरे देश में लागू होगा

यह Supreme Court का आदेश पूरे देश में लागू होगा। यह प्रत्येक राज्य में Primary teacherों की नियुक्ति पर प्रभावी होगा। मध्य प्रदेश सरकार ने Supreme Court में स्पष्टीकरण की याचिका लगाई थी, जो न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस और न्यायमूर्ति सुधांशु धूलिया की खंडपीठ ने पारित की। इस दौरान कोर्ट ने मौखिक रूप से कहा कि यह आदेश पूरे देश में लागू होगा, न सिर्फ मध्य प्रदेश में।

पूरा मामला यहीं से शुरू हुआ था।

दरअसल, Supreme Court ने 2018 के NCTE नोटिफिकेशन को अगस्त 2023 में मामले की सुनवाई करते हुए रद्द कर दिया था। जिसमें B.Ed degree धारकों को Primary teacher के लिए योग्य माना गया। यह मामला देश भर में चर्चा का विषय बन गया जब Supreme Court ने मामले की सुनवाई में कहा कि B.Ed degree धारक Primary teacher नहीं होंगे; इसके बजाय, बीटीसी और डीएलएड उम्मीदवार Primary teacher पद के लिए योग्य होंगे।

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