Himachal BCS Kidnapping Case: 75 लाख के लिए रची थी साजिश, शेयर बाजार में डूबे पैसे के लिए बनाया था प्लान, आरोपी ने खोले राज

शिमला: शिमला के वीवीआईपी इलाके में स्थित देश के नामी स्कूलों में से एक, बिशप कॉटन स्कूल (BCS) से 9 अगस्त को हुए तीन छात्रों के अपहरण मामले की परतें अब धीरे-धीरे खुल रही हैं। पुलिस की गिरफ्त में आए आरोपी सुमित सूद ने पूछताछ के दौरान जो खुलासे किए हैं, वे हैरान करने वाले हैं। आरोपी ने कबूल किया है कि वह आर्थिक तंगी से बुरी तरह जूझ रहा था और शेयर बाजार में डूबे अपने पैसे की भरपाई के लिए उसने यह खौफनाक कदम उठाया था।
हर बच्चे की कीमत 25 लाख, 10 दिन पहले से थी तैयारी
पुलिस सूत्रों के अनुसार आरोपी सुमित सूद ने बताया कि उसने अकेले ही इस पूरी साजिश को रचा था। उसने करीब 10 दिन पहले से ही बच्चों को किडनैप करने और फिरौती मांगने की योजना बना ली थी। उसका मकसद तीनों बच्चों के अभिभावकों से 25-25 लाख रुपये, यानी कुल 75 लाख रुपये की फिरौती वसूलना था। आरोपी ने बच्चों को किडनैप करने के बाद अभिभावकों को सिर्फ एक ही कॉल की थी। उस कॉल में उसने सिर्फ इतना ही कहा था, "आपके बच्चे एक गैंग के पास हैं, अगली कॉल आने तक इंतजाम रखना।" वह अपनी दूसरी कॉल में फिरौती की रकम बताने वाला था, लेकिन इससे पहले कि वह ऐसा कर पाता, पुलिस की तेज कार्रवाई ने उसे दबोच लिया और उसका पूरा खेल खत्म हो गया।
क्यों किया बच्चों को किडनैप?
अभी तक की जांच में यह बात सामने आई है कि आरोपी सुमित सूद भारी कर्ज में डूबा हुआ था। उसके पैसे शेयर बाजार में डूब गए थे और वह आर्थिक तंगी से परेशान था। इसी परेशानी से निकलने के लिए उसने यह आसान, लेकिन खौफनाक रास्ता चुना। पुलिस अब इस एंगल पर भी जांच कर रही है कि क्या इस साजिश में उसके साथ कोई और भी शामिल था।
पुलिस कर रही हर पहलू की जांच
एसपी शिमला संजीव गांधी ने बताया कि पुलिस इस मामले को बेहद गंभीरता से ले रही है और हर एक पहलू की गहनता से जांच की जा रही है। उन्होंने कहा, "आरोपी से अभी पूछताछ जारी है। हमारी टीम यह जानने की कोशिश कर रही है कि अगर अभिभावक फिरौती नहीं देते तो उसका अगला कदम क्या होता। हमारी पुलिस ने इस मामले में बेहतरीन कार्य किया है और न सिर्फ आरोपी को सलाखों के पीछे पहुंचाया है, बल्कि सबसे बड़ी सफलता यह है कि तीनों बच्चों - अंगद (करनाल), रितेंद्र (मोहाली), और वेदांश (कुल्लू) - को 24 घंटे के भीतर ही कोटखाई के कोकूनाला से सुरक्षित बरामद कर लिया गया था।