चंबा: हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले के चुराह क्षेत्र से एक ऐसी खबर सामने आई है, जिसने हर किसी का दिल दहला दिया है। यहां की आयल पंचायत में एक खूंखार भालू ने 11 साल की एक मासूम बच्ची को अपना निवाला बना लिया। यह दर्दनाक घटना तीन-चार दिन पहले की बताई जा रही है, जिसके बाद से पूरे इलाके में दहशत का माहौल है। जानकारी के अनुसार आयल पंचायत के चुहाली गांव की रहने वाली 11 वर्षीय आयशा बेगम पुत्री जमाल दीन अपनी एक सहेली के साथ बकरियां चराने के लिए पास के जंगल की ओर जा रही थी। दोनों बच्चियां अभी अपने घर से महज 500 मीटर की दूरी पर ही पहुंची थीं कि अचानक घात लगाकर बैठे भालू ने आयशा पर झपट्टा मार दिया।
इससे पहले कि कोई कुछ समझ पाता भालू आयशा को घसीटते हुए दूर ले गया। यह खौफनाक मंजर देख आयशा की सहेली बुरी तरह डर गई और उसने अपनी जान बचाने के लिए पास की झाड़ियों में छिपकर अपनी सांसें रोक लीं। बताया जा रहा है कि कुछ देर बाद भालू फिर से उसी जगह पर लौटा, लेकिन झाड़ियों में छिपी होने के कारण बच्ची उसकी नजर में नहीं आई और उसकी जान बच गई। परिवार वालों को इस दर्दनाक घटना का पता तब चला, जब उसी रास्ते से गुजर रहे आयशा के चाचा ने झाड़ियों से आ रही दूसरी बच्ची की रोने-चिल्लाने की आवाजें सुनीं। घबराई हुई बच्ची ने कांपते हुए पूरी आपबीती सुनाई, जिसे सुनकर उनके पैरों तले जमीन खिसक गई।
उन्होंने फौरन गांव वासियों को सूचना दी। उसके बाद परिजन और बड़ी संख्या में ग्रामीण मौके पर इकट्ठा हो गए और आयशा की तलाश शुरू की। काफी खोजबीन के बाद आयशा का शव लहूलुहान हालत में मिला। भालू के हमले से बच्ची के सिर पर गंभीर चोटें आई थीं। ग्रामीणों में गुलाम रसूल, ताजदीन, हुसैन, मजीद, और अन्य ने प्रशासन से गुहार लगाई है कि इस भालू को जल्द से जल्द पकड़ा जाए, नहीं तो वह किसी और को भी अपना शिकार बना सकता है।
आयल पंचायत के प्रधान शुक्रदीन ने भी प्रशासन से भालू को पकड़ने की मांग करते हुए कहा कि ग्रामीण हर रोज मवेशियों को चराने और लकड़ी लाने के लिए जंगल जाते हैं, ऐसे में उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना अत्यंत आवश्यक है।