PM Kisan Mandhan Yojana: भारत की मिट्टी से सोना उगाने वाला किसान जब अपनी उम्र के ढलान पर पहुंचता है, तो अक्सर उसे आर्थिक तंगी और अनिश्चितता का सामना करना पड़ता है। जवानी की सारी ताकत खेतों में लगा देने के बाद बुढ़ापे में उसके पास आजीविका का कोई ठोस साधन नहीं बचता। किसानों की इसी सबसे बड़ी चिंता को दूर करने और उनके बुढ़ापे को सम्मानजनक बनाने के लिए केंद्र सरकार ने एक बेहद शानदार योजना शुरू की है, जिसका नाम है ‘प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना’। यह योजना देश के करोड़ों छोटे और सीमांत किसानों के लिए एक मजबूत सामाजिक सुरक्षा कवच बनकर उभरी है।
यह कोई साधारण योजना नहीं, बल्कि किसानों के भविष्य के लिए एक सोची-समझी financial planning है। इसका मकसद यह सुनिश्चित करना है कि जब किसान के हाथ-पैर खेतों में मेहनत करने लायक न रहें, तब भी उसे किसी के आगे हाथ न फैलाना पड़े और वह सम्मान के साथ अपना जीवन जी सके। यही वजह है कि यह PM Kisan Mandhan Yojana देशभर के किसानों के बीच तेजी से लोकप्रिय हो रही है और बड़ी संख्या में लोग इससे जुड़कर अपना भविष्य सुरक्षित कर रहे हैं।
कैसे काम करती है यह पेंशन स्कीम?
इस योजना की सबसे खूबसूरत बात इसका सरल और सुगम होना है। इसमें 18 से लेकर 40 साल तक का कोई भी छोटा या सीमांत किसान आवेदन कर सकता है। योजना में आपको कितना पैसा हर महीने जमा करना है, यह आपकी उम्र पर निर्भर करता है। आप जितनी कम उम्र में इस योजना से जुड़ेंगे, आपको उतना ही कम मासिक अंशदान देना होगा। उदाहरण के लिए, अगर कोई 18 साल का युवा किसान इस योजना में शामिल होता है, तो उसे हर महीने सिर्फ 55 रुपये जमा करने होंगे। यह रकम उसे 60 साल की उम्र तक जमा करनी होगी।
इस योजना की एक और बड़ी खासियत यह है कि इसमें किसान अकेला निवेश नहीं करता। जितना पैसा किसान अपने खाते में डालता है, उतनी ही रकम केंद्र सरकार भी अपनी तरफ से किसान के पेंशन खाते में जमा करती है। यानी अगर आप 55 रुपये जमा कर रहे हैं, तो सरकार भी 55 रुपये मिलाएगी और आपके खाते में कुल 110 रुपये जमा होंगे। 60 साल की उम्र पूरी होने के बाद सरकार आपको हर महीने 3,000 रुपये, यानी सालाना 36,000 रुपये की पेंशन देना शुरू कर देगी, जो जीवनभर मिलती रहेगी। यह एक बेहतरीन pension scheme है जो किसानों को बुढ़ापे में आत्मनिर्भर बनाती है।
परिवार को भी मिलती है सुरक्षा
यह योजना सिर्फ किसान तक ही सीमित नहीं है, बल्कि उसके परिवार को भी सुरक्षा प्रदान करती है। अगर किसी कारणवश 60 साल के बाद पेंशन ले रहे किसान की मृत्यु हो जाती है, तो उसकी पत्नी को फैमिली पेंशन के तौर पर हर महीने 1,500 रुपये मिलते रहेंगे। यह सुनिश्चित करता है कि किसान के बाद भी उसका परिवार बेसहारा न हो। यह इस योजना का एक महत्वपूर्ण social security पहलू है।
कौन कर सकता है और कौन नहीं कर सकता आवेदन?
सरकार ने इस योजना को विशेष रूप से उन किसानों के लिए बनाया है, जिन्हें इसकी सबसे ज्यादा जरूरत है।
- पात्रता: 18 से 40 वर्ष की आयु का कोई भी किसान जिसके पास 2 हेक्टेयर (लगभग 5 एकड़) से कम खेती योग्य भूमि है, वह इस योजना के लिए पात्र है।
- अपवाद: वे किसान जो आयकर (Income Tax) भरते हैं, वे इस योजना का लाभ नहीं उठा सकते। इसके अलावा, जो किसान पहले से ही कर्मचारी भविष्य निधि (EPFO), राष्ट्रीय पेंशन योजना (NPS) या कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ESIC) जैसी किसी अन्य सामाजिक सुरक्षा योजना का लाभ ले रहे हैं, वे भी इसके लिए पात्र नहीं हैं।
कैसे करें इस शानदार योजना में आवेदन?
इस योजना में आवेदन करने की प्रक्रिया बेहद सरल रखी गई है ताकि किसी भी किसान को कोई परेशानी न हो। आपको बस अपने कुछ जरूरी दस्तावेज, जैसे आधार कार्ड और बैंक पासबुक, लेकर अपने नजदीकी जनसेवा केंद्र (Common Service Center – CSC) पर जाना होगा। वहां मौजूद अधिकारी आपका रजिस्ट्रेशन कर देगा और आपके बैंक खाते से मासिक किस्त कटने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। एक बार रजिस्ट्रेशन कराने के बाद आपको कुछ और करने की जरूरत नहीं है, पैसा हर महीने अपने आप आपके खाते से कटकर पेंशन अकाउंट में जमा होता रहेगा।